भारत सरकार भारत के अन्वेषण क्षेत्र को 2025 तक 0.5 मिलियन वर्ग किमी तक और 2030 तक 1.0 मिलियन वर्ग किमी तक बढ़ाने का इरादा रखती है- केंद्रीय मंत्री

WhatsApp Image 2023 01 29 at 2.55.36 PM

हलधर किसान। केंद्रीय पेट्रोलियम एवं प्राकृतिक गैस और आवास और शहरी विकास मंत्री श्री हरदीप सिंह पुरी ने आज (28 जनवरी, 2023) तेल और प्राकृतिक गैस निगम (ओएनजीसी) के प्रतिष्ठित ड्रिलिंग रिग सागर सम्राट को मोबाइल ऑफशोर प्रोडक्शन यूनिट (एमओपीयू) के रूप में फिर से समर्पित किया। सागर सम्राट पर आयोजित एक समारोह में यह ऐलान हुआ जो मुंबई से 140-145 किलोमीटर पश्चिम में स्थित है। मंत्री ने बाद में ओएनजीसी के ऊर्जा सैनिकों और उनके परिवारों से मिलने के लिए ओएनजीसी केंद्रीय विद्यालय मैदान, पनवेल फेज 1 का दौरा भी किया। मंत्री ने सागर सम्राट को ड्रिलिंग रिग के रूप में संचालित करने वाले ओएनजीसी के कर्मचारियों और इसे एमओपीयू में बदलने पर काम करने वाली टीम से भी मुलाकात की। उन्होंने सागर सम्राट, जिन्हें उन्होंने ‘राष्ट्र के ऊर्जा सैनिक’ कहा, के दल को भारत की ऊर्जा सुरक्षा के लिए अपने प्रयासों को जारी रखने के लिए प्रेरित किया। मंत्री ने इस बात पर प्रकाश डाला कि कैसे सागर सम्राट हाइड्रोकार्बन अन्वेषण के मामले में विश्व स्तर पर “बंजर” के रूप में लेबल किए जाने पर भारत के अपने स्वयं के तेल का उत्पादन करने की दृष्टि का प्रमाण है। मंत्री ने कहा कि भारत के सबसे प्रमुख और विपुल तेल क्षेत्र का दोहन करने में, ओएनजीसी ने ज्ञान की खोज, निरंतर उत्कृष्टता और तकनीकी रूप से विकसित होने की इच्छा के लिए खुद को लगातार प्रतिबद्ध किया है। केंद्रीय मंत्री ने कहा, “सागर सम्राट की विरासत उन शहीद अधिकारियों की यादों का भी सम्मान करती है, जिन्होंने ओएनजीसी के लिए और इससे भी महत्वपूर्ण भारत की ऊर्जा सुरक्षा के लिए अपने प्राण न्यौछावर कर दिए।” उन्होंने इस अवसर पर सागर सम्राट के चालक दल और हेलिकॉप्टर घटना के परिवारों को सम्मानित किया। इस अवसर पर बोलते हुए, केंद्रीय पेट्रोलियम एवं प्राकृतिक गैस मंत्री ने कहा, “सागर सम्राट का पुन: राज्याभिषेक, री-एलाइनमेंट और इनोवेशन के माध्यम से अनिश्चितताओं और प्राकृति की प्रभावित करने वाली ताकतों का सामना करने के साहस और इच्छा की एक जीती जागती कहानी है। उन्होंने कहा कि ओएनजीसी न केवल भारत की प्रमुख राष्ट्रीय तेल कंपनी है, बल्कि भारत इंक की प्रमुख कॉर्पोरेट संस्थाओं में से एक है। यह कहते हुए, उन्होंने ओएनजीसी के बारे में भरोसा जताया कि भारत की नंबर 1 राष्ट्रीय तेल कंपनी भारत की नई उम्मीदों और आकांक्षाओं के लिए खुद को रीइन्वेंट जरूर करेगी। उन्होंने आगे कहा कि, भारत के शीर्ष एनओसी के रूप में, देश ओएनजीसी की ओर देख रहा है, जो सरकार द्वारा प्रदान किए जा रहे सुविधाजनक नीतिगत वातावरण का अधिकतम लाभ उठाने और भारत के एक्सप्लोरेशन एंड प्रोडक्शन चार्ज का नेतृत्व करने के लिए है। केंद्रीय मंत्री ने कहा कि भारत सरकार भारत के अन्वेषण क्षेत्र को 2025 तक 0.5 मिलियन वर्ग किमी तक और 2030 तक 1.0 मिलियन वर्ग किमी तक बढ़ाने का इरादा रखती है। उन्होंने यह भी कहा कि सरकार ‘नो गो’ क्षेत्र को 99% तक कम करने में सफल रही है, जिससे भारत के ईईजेड का एक अतिरिक्त लगभग 1 मिलियन वर्ग कि.मी. अन्वेषण के लिए उपलब्ध हो गया है। शेवरॉन, एक्सॉनमोबिल और टोटल एनर्जी जैसी कई बहुराष्ट्रीय कंपनियां भारतीय ईएंडपी सेगमेंट में निवेश करने के लिए गहरी दिलचस्पी दिखा रही हैं, और कुछ पारस्परिक रूप से लाभकारी साझेदारी को मजबूत करने के लिए पहले से ही ओएनजीसी के साथ बातचीत कर रही हैं।
सागर सम्राट एमओयूपी के बारे में:

1973 में कमीशन हुए सागर सम्राट को जापान में मित्सुबिशी यार्ड में बनाया गया था और 3 अप्रैल 1973 को हिरोशिमा से यह रवाना हुआ था। इसने 1974 में अरब सागर के मुंबई अपतटीय क्षेत्र में ओएनजीसी का पहला ऑफशोर वेल खोदा, जिसे तब बॉम्बे हाई कहा जाता था। सागर सम्राट ने ग्लोबल ऑयल मैप पर भारत के तेल भाग्य को बदल दिया। 32 वर्षों में, सागर सम्राट ने लगभग 125 कुएँ खोदे हैं और भारत में 14 प्रमुख ऑफशोर तेल और गैस खोजों में शामिल रहा है। प्रारंभ में एक जैक-अप ड्रिलिंग रिग, सागर सम्राट को अब एक मोबाइल ऑफशोर प्रोडक्शन यूनिट में परिवर्तित कर दिया गया है। टेक्सास में स्थित ब्रिटिश इंजीनियरिंग और परामर्श समूह वुड ग्रुप की मस्टैंग यूनिट ने जहाज के रूपांतरण के लिए फ्रंट-एंड इंजीनियरिंग और डिजाइन का काम किया है। एमओपीयू सागर सम्राट ने 23 दिसंबर 2022 को उत्पादन शुरू किया। पोत वर्तमान में वेस्टर्न ऑफशोर(डब्ल्यूओ)-16 क्षेत्र में तैनात है, जो मुंबई से 140-145 किलोमीटर पश्चिम में स्थित है। 76 मीटर पानी की गहराई में ओएनजीसी के मौजूदा डब्ल्यूओ-16 वेल हेड प्लेटफॉर्म (डब्ल्यूएचपी) के निकट स्थित, पोत डब्ल्यूओ क्लस्टर में सीमांत क्षेत्रों से उत्पादन में सहायक होगा जिससे पश्चिमी अपतट से उत्पादन में वृद्धि होगी। एमओपीयू को प्रति दिन 20,000 बैरल कच्चे तेल को संभालने के लिए डिज़ाइन किया गया है और इसकी अधिकतम निर्यात गैस क्षमता 2.36 मिलियन क्यूबिक मीटर प्रति दिन है।

इस अवसर पर ओएनजीसी के अध्यक्ष अरुण कुमार सिंह और पेट्रोलियम सचिव पंकज जैन भी उपस्थित थे।

WhatsApp Image 2023 01 29 at 2.56.33 PM

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *