हलधर किसान, नई दिल्ली। आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस यानी एआई का चलन शहर ही नहीं अब गांवों में भी तेजी से बढ़ने लगा है। आलम ये है कि एआई ने लोगों की जिंदगी को काफी आसान बना दिया है। जिन्हें एआई का सही उपयोग मालूम है, वो इसका खूब फायदा उठा रहे हैं। पढ़ाई-लिखाई से लेकर खेती किसानी तक में एआई की मदद ली जा रही है। ये बातें आईआईटी की स्टडी से सामने आई है।
मालूम चला है कि शहर की तरह ही गांवों में भी अब लोग छोटी-छोटी समस्याओं में भी एआई की मदद लेने लगे हैं। फिर वह एआई चैट्स हो या एआई वॉइस। एआई और स्मार्ट फोन को लेकर स्टडी करने वाले आईआईटी के कुलदीप डींग कहते हैं, ’30 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के 700 गांवों में इसको लेकर अध्ययन हुआ। इस अध्ययन में 1800 लोगों को शामिल किया गया था। रिपोर्ट से साफ हुआ कि गांवों में तेजी से स्मार्ट फोन का चलन बढ़ा है। अब अशिक्षित लोग भी स्मार्ट फोन का यूज कर रहे हैं। महिलाओं में भी इसको लेकर अलग तरह का क्रेज देखने को मिला है। महिलाएं अपने खाली टाइम में स्मार्ट फोन में अपने हिसाब से वीडियो कटेंट देख रहीं हैं। इसमें यूट्यूब का चलन, व्हाट्सएप पर वीडियो कॉल, फेसबुक और इंस्टाग्राम का यूज शामिल है।’

युवाओं में सोशल मीडिया के अलावा अब आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस यानी एआई का भी क्रेज देखने को मिला है। एआई की मदद से युवा अपने कई काम आसानी से कर लेते हैं। स्कूल-कॉलेज के बच्चे ज्यादा एआई की मदद ले रहे हैं। इसके अलावा वह इसकी मदद से अपने परिवार की मदद भी कर रहे हैं। खासतौर पर खेती-किसानी में ये युवा एआई की सहायता लेकर अपने परिवार को आगे बढ़ाने का काम कर रहे हैं।
उन्होंने आगे कहा कि एआई की मदद से फसलों की जानकारी, फसलों में लगने वाली बीमारी आदि का पता चंद सेकेंड में कर लिया जाता है। इसके लिए गांव के लोग अपने मोबाइल फोन में एआई बेस्ड एप्लीकेशंस भी डाउनलोड कर रहे हैं।
रिपोर्ट में और क्या?
- आने वाले 10 सालों में गांवों में एआई से बड़ी क्रांति आएगी।
- लोग तेजी से 5-जी इंटरनेट का प्रयोग कर रहे हैं।
- वीडियो कंटेंट की खपत गांवों में ज्यादा हो रही है।
- लोग वीडियो के माध्यम से कई विषयों में जागरूक हो रहे हैं।
- स्मार्ट फोन को लेकर लोगों में दिलचस्पी बढ़ी है।
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